दुनियाभर के विख्यात पर्यटन स्थलों में जयपुर अपना महत्वपूर्ण स्थान रखता है। पर्यटन के उच्चस्तर के कारण यहां पर्यटकों द्वारा हस्तनिर्मित वस्तुओं और कलात्मक चीजों की खरीददारी भी बड़े पैमाने पर की जाती है। जयपुर हस्तशिल्प, हस्तकला और हस्तकरघा वस्तुओं की खरीद का स्वर्ग माना जाता है। जयपुर और राजस्थान की रंग-बिरंगी संस्कृति और राजसी समृद्धि की छाप इन वस्तुओं पर भी देखी जा सकती है। इस बात का फायदा उठाकर कुछ लोभी किस्म के लोग इन उद्योगों में शामिल हुए हैं और वे वस्तुओं के वास्तविक बिक्री मूल्य से बहुत ज्यादा मूल्य पर्यटकों की जेब से निकालने की चाह रखते हैं। यह सच है कि जयपुर की कला मूल्य रखती है लेकिन उसे उसकी उचित कीमत पर बेचना और खरीदना ही उसकी सच्ची कद्र है। आप कुछ बातों का ध्यान रखकर इस क्षेत्र में हो रहे अतिमूल्यन और ठगी से बच सकते हैं।
1 अगर आप जयपुर के बाजारों में यहां का प्रसिद्ध परिधान खरीद रहे हैं तो एक से अधिक दुकानों में जाकर उसके सही मूल्य को आंकने का प्रयास करें। इससे आपको परिधान के मूल्य के साथ साथ उसकी गुणवत्ता का भी अंदाजा हो जाएगा। वस्तुओं के बारे में आधारभूत जानकारी रखें और मोल-भाव जरूर करें।
2 बाजार में शॉपिंग करने के लिए स्थानीय गाईड की मदद ली जा सकती है। लेकिन आपको लपकों से सावधान रहना चाहिए। गाईड अगर जगह विशेष या किसी खास दुकान पर जाने के लिए बाध्य करे तो कुछ और दुकानें विजिट करने का हवाला दें। अच्छे स्थानीय गाईड को स्थानीय स्मारकों और सामान की कीमत की अच्छी जानकारी होती है। ध्यान रखें गाईड पर्यटन विभाग से अधिकृत हों।
3 खरीददारी में एक चीज बहुत महत्व रखती है, वह है मोल-भाव करना। अगर और खरीददारी करते वक्त मोल-तोल और मोल-भाव करते हैं तो आप वस्तु के लगभग सही मूल्य पर पहुंच जाते हैं। जयपुर के बाजारों में खरीददारी करते वक्त वस्तु की कीमत सुनते ही जेब में हाथ न डाल दें, बल्कि वस्तु की क्वालिटी, गारंटी, शोधन, परीक्षण और सही भाव के बारे में बार्गेनिंग करें। हो सकता है सही कीमत आपको पता न हो लेकिन मालिक को पता है और कुछ न कुछ लाभ लेकर वह उस वस्तु को बेचने का प्रयास करेगा। आपका उतावलापन आपकी जेब पर भारी पड़ सकता है।
4 यदि आप पैक सामान की खरीद कर रहे हैं तो उसकी निर्माण तिथि, पैकिंग तिथि, उपभोग सीमा और मूल्य का ठीक से परीक्षण करें। एक उक्ति खरीददारी के बारे में कही जाती है कि खरीददारी करते समय आंख और कान खुले रखें। पैंकिंग की जांच करने के साथ सामान के बारे में भी दुकानदार या मालिक से बात करें, उसी वस्तु की अन्य ब्रांड्स से तुलना करें और उसके बारें में ठीक से पड़ताल करें।
5 वस्तु विशेष यदि आपको पसंद आ गई है तो यह दुकानदार के सामने जाहिर ना करें। न ही उतावलापन दिखाएं। हो सके तो एक बार वस्तु को अस्वीकार कर दें। इससे दुकानदार भांप लेगा कि आपकी उस सामान में दिलचस्पी नहीं है। जिस वस्तु को खरीदने में आप दिलचस्पी दिखाते हैं, उसकी कीमत दुकानदार की सोच में ही बढ़ जाती है।
6 इंटरनेट ने खरीददारी को आसान बना दिया है। आप बाजारों की लोकेशन, वस्तुओं के नाम, गुणवत्ता, निर्माण, उपलब्धता और कीमत की लगभग जानकारी सर्फिंग के जरिए मिल सकती है। बाजार में शॉपिंग पर निकलने से पूर्व नेट के जरिए वस्तुओं के बारे में ज्यादा से ज्यादा जानकारी प्राप्त कर लें।
7 वस्तु विशेष खरीदने से पहले आप अनेक दुकानों पर जाकर उसकी कीमत और अन्य जानकारियां लेने का प्रयास करें। जैसे आपको जयपुर की प्रसिद्ध बंधेज की साड़ी खरीदनी है। इसके लिए आप एक ही दुकान पर निर्भर ना रहें। बल्कि जयपुर में साड़ी मार्केट में जाएं और कई दुकानों पर बंधेज की साड़ी का मूल्य, प्रकार और गुणवत्ता की जानकारी लें। संतुष्ट होने के बाद ही साड़ी खरीदें। इससे न केवल आप बेहतर खरीददारी कर सकेंगे बल्कि बंधेज की साडि़यों के बारे में आपकी नॉलेज भी बढ़ेगी।
8 किसी अजनबी शहर में खरीददारी करने से पहले स्थानीय लोगों से बातचीत करना लाभप्रद होता है। आप शहर के बारे में ऐसी जानकारियां निकाल सकते हैं जो आपको किताबों या नेट पर नहीं मिल सकती। स्थानीय लोगों को हर स्थानीय वस्तु का मूल्य और मिलने के स्थान का अंदाजा होता है। जयपुर के लोग मेहमानों की मदद करने में खुशी अनुभव करते हैं, आप स्थानीय लोगों से वस्तु के बारे में जानकारी ले सकते हैं, हो सकता है इस दौरान कोई विशेष और नई जानकारी भी आपको मिल जाए।
9 नए जमाने के साथ खरीददारी के तरीकों में भी बदलाव आया है। नेट के युग में ऑनलाईन शॉपिंग का विकल्प भी है। जयपुर में ऑनलाईन शॉपिंग के लिए कई साईटें हैं। आप इन साईटों के बारें में जानें और वस्तुओं की कीमतों के विवरण पर नजर डालें। इससे आपको स्थानीय कीमतों की जानकारी कुछ हद तक हो जाती है। आप ऑनलाईन खरीददारी भी कर सकते हैं लेकिन कंपनी और ब्रांड अपनी समझदारी से तय करें।
10 मनचाही वस्तु को सही दाम में प्राप्त करने के लिए स्थानीय निवासी अच्छे नुस्खे जानते हैं। एक ऐसे ही नुस्खे के मुताबिक वस्तु का चयन करें, लेकिन कीमत ज्यादा होने का हवाला देकर उसे छोड़ दें। आप अपनी समझदारी से वस्तु की कम से कम कीमत आंकें और अड़े रहें। दुकानदार अपने लाभ का निश्चित हिस्सा बचाकर सही कीमत तक उतर आएगा। क्योंकि जैसे आपकी दिलचस्पी वस्तु को खरीदने में है उसी तरह दुकानदार की दिलचस्पी वस्तु को बेचने में है।
खरीददारी के मामले में आपकी सावचेती और समझदारी भ्रमण के आनंद को दुगना कर देती है। जल्दबाजी और उतालवेपन में ठगी होने पर आपके मन में भ्रमण की अच्छी यादों से ज्यादा भूलने योग्य बातों की ठीस रह सकती है। इसलिए जब खरीददारी के लिए निकलें तो इन बातों पर गौर जरूर करें।
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